उत्तर बंगाल में भारी बारिश और भूस्खलन की आपदा के बाद विपक्षी दलों ने तृणमूल कांग्रेस (TMC) सरकार पर तीखा हमला किया। उनका आरोप है कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी राहत कार्यों की बजाय कार्निवल और महोत्सवों में व्यस्त रहीं, जबकि दार्जिलिंग, कलिम्पोंग और आसपास के जिलों में लोग बाढ़, पेयजल और भोजन की कमी और बुरी तरह प्रभावित अवसंरचना जैसी समस्याओं का सामना कर रहे थे।
भाजपा के सुवेंदु अधिकारी ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने प्रभावित इलाकों का दौरा करने या समय पर राहत कार्य सुनिश्चित करने की बजाय कोलकाता में आयोजित कार्निवल को प्राथमिकता दी। कांग्रेस ने भी इसी बात की निंदा करते हुए कहा कि राज्य नेतृत्व केवल दिखावे में व्यस्त था, नागरिकों की वास्तविक जरूरतों को नजरअंदाज किया गया।
सीपीएम ने सरकार पर पारिस्थितिकीय प्रबंधन की कमी का आरोप लगाया। उनका कहना है कि अवैध खनन, पहाड़ियों और नदी तटों से पत्थर हटाना, और पुराने सड़क और पुल अवसंरचना की अनदेखी ने प्राकृतिक आपदा के प्रभाव को और बढ़ा दिया। सीपीएम के मोहम्मद सलीम ने कहा कि TMC के लिए “नीला और सफेद” केवल पार्टी के रंग हो सकते हैं, लेकिन यह लोगों की सुरक्षा नहीं करता।
इस कदम से भारतीय निर्यातों पर भारी दबाव पड़ा है।
उन्होंने यह भी साझा किया कि पंजाबी भाषा सीखने का उनका अनुभव बेहद प्रेरणादायक रहा...
जाँच से पता चला है कि घटना मंगलवार रात हुई थी।
सौभाग्य से इस घटना में सभी यात्री और क्रू सदस्य पूरी तरह सुरक्षित रहे