दिल्ली में वायु गुणवत्ता लगातार बिगड़ती जा रही है और शुक्रवार सुबह एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 242 दर्ज किया गया, जो ‘खराब’ श्रेणी में आता है। यह स्थिति पिछले चार दिनों से बनी हुई है। गुरुवार को 24 घंटे का औसत AQI 245 था, जो भी ‘खराब’ श्रेणी में आता है।
कुछ क्षेत्रों जैसे बावना (310), अक्षरधाम (369) और आनंद विहार (252) में वायु गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ दर्ज की गई, क्योंकि इन स्थानों का AQI 300 से ऊपर रहा। प्रदूषण के मुख्य कारणों में वाहनों से होने वाला धुआं सबसे बड़ा योगदान देता है, जो गुरुवार को कुल प्रदूषण का 18.7% था।
एयर क्वालिटी अर्ली वार्निंग सिस्टम (AQEWS) के अनुसार, दिल्ली में वायु गुणवत्ता 17 अक्टूबर तक ‘खराब’ श्रेणी में बनी रहेगी और दिवाली के समय ‘बहुत खराब’ होने की संभावना है। कम हवा की गति और घने कोहरे जैसी मौसम संबंधी परिस्थितियाँ प्रदूषण के स्तर को बढ़ा रही हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि पराली जलाना, वाहन उत्सर्जन और पटाखों का इस्तेमाल दिवाली के दौरान वायु गुणवत्ता को और खराब कर देगा।
इस स्थिति को देखते हुए दिल्ली सरकार ने ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) के स्टेज-1 को सक्रिय किया है। इसके तहत सड़कों की मैकेनाइज्ड सफाई, पानी छिड़काव और पॉल्यूशन अंडर कंट्रोल (PUC) नियमों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित किया जा रहा है। साथ ही, सरकार लोगों को ग्रीन पटाखों का उपयोग करने और पर्यावरण के अनुकूल तरीके से दिवाली मनाने के लिए प्रोत्साहित कर रही है।
इस कदम से भारतीय निर्यातों पर भारी दबाव पड़ा है।
उन्होंने यह भी साझा किया कि पंजाबी भाषा सीखने का उनका अनुभव बेहद प्रेरणादायक रहा...
जाँच से पता चला है कि घटना मंगलवार रात हुई थी।
सौभाग्य से इस घटना में सभी यात्री और क्रू सदस्य पूरी तरह सुरक्षित रहे