बेंगलुरु के बागलुर इलाके में 19 वर्षीय BBA छात्रा सना परवीन ने शुक्रवार को अपने घर पर आत्महत्या कर ली। परिवार और पुलिस के अनुसार, सना को अपने कॉलेज के एक वरिष्ठ छात्र रेफास द्वारा लगातार शोषण और ब्लैकमेल किया जा रहा था। सना के पिता, जो मैडीकेरी के एक सिविल कांट्रेक्टर हैं, ने बताया कि उनकी बेटी ने बार-बार इस मानसिक दबाव और परेशानियों के बारे में परिवार को बताया।
सना ने कॉलेज में इस समस्या को रिपोर्ट किया था और बताया गया कि फैकल्टी ने रेफास को चेतावनी दी थी कि वह संपर्क बंद करे। इसके बावजूद, कथित तौर पर रेफास द्वारा उसका शोषण और परेशान करना जारी रहा। लगातार मानसिक दबाव और डर के चलते सना ने यह दर्दनाक कदम उठाया।
यह घटना छात्राओं और छात्रों की सुरक्षा, मानसिक स्वास्थ्य और शोषण के मामलों की गंभीरता को उजागर करती है। विशेषज्ञों का कहना है कि शिक्षण संस्थानों को छात्रों की शिकायतों को गंभीरता से लेने और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रभावी तंत्र स्थापित करना चाहिए।
इस कदम से भारतीय निर्यातों पर भारी दबाव पड़ा है।
उन्होंने यह भी साझा किया कि पंजाबी भाषा सीखने का उनका अनुभव बेहद प्रेरणादायक रहा...
जाँच से पता चला है कि घटना मंगलवार रात हुई थी।
सौभाग्य से इस घटना में सभी यात्री और क्रू सदस्य पूरी तरह सुरक्षित रहे