गुजरात के डीसा में पटाखा फैक्ट्री में भीषण आग 13 मजदूरों की मौत
गुजरात- गुजरात के डीसा में मंगलवार को एक पटाखा फैक्ट्री और गोदाम में भीषण आग लगने से 13 मजदूरों की दर्दनाक मौत हो गई। यह हादसा धुवा रोड पर स्थित फैक्ट्री में हुआ, जहां मजदूर पटाखे बना रहे थे। आग की सूचना मिलते ही डीसा नगरपालिका की दमकल टीमें और 108 एंबुलेंस मौके पर पहुंच गईं और बचाव कार्य शुरू कर दिया गया।
प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, यह भयावह घटना फैक्ट्री के गनपाउडर यूनिट में हुए जबरदस्त विस्फोट के कारण हुई। विस्फोट इतना ताकतवर था कि पास स्थित एक गोदाम भी ढह गया और उसका मलबा 200 मीटर तक फैल गया। फैक्ट्री में मौजूद मजदूर इस भीषण धमाके की चपेट में आ गए और कई के शव क्षत-विक्षत हालत में दूर-दूर तक बिखर गए। यहां तक कि आसपास के खेतों में भी शवों के टुकड़े मिले, जिससे घटना की भयावहता का अंदाजा लगाया जा सकता है।
घटना के बाद पूरे इलाके में अफरा-तफरी मच गई। आग इतनी भयानक थी कि दमकलकर्मियों को उस पर काबू पाने में काफी मशक्कत करनी पड़ी। कई घंटों की कड़ी मशक्कत के बाद आग पर नियंत्रण पाया गया, लेकिन तब तक फैक्ट्री पूरी तरह जलकर खाक हो चुकी थी। फैक्ट्री में ज्वलनशील पदार्थ होने के कारण आग तेजी से फैली और मजदूरों को बचने का कोई मौका नहीं मिला।
प्रशासन ने इस हादसे की गंभीरता को देखते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं। फिलहाल, यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि विस्फोट की असली वजह क्या थी, लेकिन प्रारंभिक रिपोर्ट्स के मुताबिक, फैक्ट्री में सुरक्षा मानकों का सही ढंग से पालन नहीं किया गया था। स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि मृतकों के परिजनों को मुआवजा देने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है और घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
डीसा में हुए इस हादसे ने पटाखा फैक्ट्रियों में काम करने वाले मजदूरों की सुरक्षा को लेकर कई गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि पटाखा निर्माण इकाइयों में काम करने वाले श्रमिकों की सुरक्षा के लिए सख्त नियमों की जरूरत है, ताकि भविष्य में ऐसे हादसों को रोका जा सके। पुलिस और प्रशासन इस मामले की गहन जांच कर रहे हैं और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की संभावना जताई जा रही है।